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आज दिल्ली सहित देश के विभिन्न राज्यों में गोवर्धन पूजा एवं अन्नकूट महोत्सव मनाया गया दीवाली त्योहारों के बाद अब भाई दूज, छठ एवं तुलसी विवाह की तैयारियों में जुटे व्यापारी- शादी सीजन को लेकर भी व्यापारी उत्साहित

दीवाली के बाद आज दिल्ली एवं उत्तर प्रदेश सहित देशभर में गोवर्धन पूजा बड़े ही धूमधाम से मनाई गई। श्रद्धालुओं ने भगवान श्रीकृष्ण को 56 भोग अर्पित किए और गाय के गोबर से गोवर्धन पर्वत बनाकर विधि-विधान से पूजा संपन्न की। इसी क्रम में दिल्ली के चांदनी चौक से संसद सदस्य एवं कैट के राष्ट्रीय महामंत्री श्री प्रवीन खंडेलवाल ने भी अपने निवास पर गोवर्धन पूजा का आयोजन किया जिसमें बड़ी संख्या में दिल्ली के प्रमुख लोगों ने भाग लिया।

इस अवसर पर *कैट वेद एवं ज्योतिष कमेटी के संयोजक तथा उज्जैन के प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य आचार्य श्री दुर्गेश तारे एवं अन्य प्रकांड विद्वान पंडितों ने* ने गाय के गोबर से भगवान श्रीकृष्ण और गोवर्धन पर्वत की प्रतिमाएं बनाकर मंत्रोच्चारण के साथ विधिवत पूजा-अर्चना की।

गोवर्धन पूजा प्राकृतिक आपदाओं से सुरक्षा और पर्यावरण संरक्षण की भावना से जुड़ी है। इस वर्ष देशभर में इसे अत्यंत उत्साह के साथ मनाया गया, *जिससे पूजा थाल, मिट्टी के दीये, देसी घी, दूध-दही, चंदन, फूल-माला, मिठाइयां, सजावटी कलश, पूजा वस्त्र और स्टील के बर्तनों की बिक्री में जबरदस्त बढ़ोतरी देखी गई*। इसी क्रम में अन्नकूट उत्सव भी उल्लास के साथ मनाया गया, जो देवी अन्नपूर्णा के प्रति आभार और कृतज्ञता व्यक्त करने का पर्व है।

इसके बाद 23 अक्टूबर को मनाई जाने वाली *भाई दूज* की तैयारियों ने बाजारों को फिर से रौनक दी है। इस पर्व पर *मिठाइयों, ड्राई फ्रूट्स, टीका सामग्री, गिफ्ट बॉक्स, वस्त्र, घड़ियां, मोबाइल एक्सेसरीज़ और उपहार वस्तुओं की मांग में उल्लेखनीय वृद्धि देखी जा रही है*।

इसी के साथ *छठ पूजा* की तैयारियां भी पूरे देश में शुरू हो चुकी हैं। इस वर्ष 27-28 अक्टूबर को छठ पूजा मनाई जा रही है । इस अवसर पर *फल, गन्ना, नारियल, ठेकुआ, सूप-डाला, साड़ी, पीतल व कांसे के बर्तन, मिट्टी के दीये और पूजा सामग्री की बिक्री भी जोरदार तरीके से शुरू हो गई है।

त्यौहारों के क्रम में अंतिम त्यौहार 2 नवंबर को देशभर में *तुलसी विवाह* मनाया जाएगा, जिसमें देवी तुलसी और भगवान शालिग्राम का विवाह पारंपरिक विधि-विधान से सम्पन्न किया जाता है। इस पर्व पर *तुलसी पौधा, मिट्टी के दीये, पूजा वस्त्र, पुष्प-मालाएं, घी, चावल, नारियल, कलश और पारंपरिक साड़ी-सूट* की मांग में खासा उछाल देखने को मिल रहा है।

*संसद सदस्य एवं कैट के राष्ट्रीय महामंत्री श्री प्रवीन खंडेलवाल* ने कहा,

“दीवाली पर रिकॉर्डतोड़ बिक्री के बाद भी देशभर के बाजारों में ग्राहकों की जबरदस्त आवाजाही जारी है। यह दर्शाता है कि भारतीय त्योहारों के प्रति लोगों का उत्साह और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विज़न *‘वोकल फॉर लोकल’* भावना के तहत घरेलू उत्पादों में विश्वास दोनों ही निरंतर बढ़ रहे हैं।

उन्होंने बताया कि दीवाली से लेकर अब तक के सभी प्रमुख त्योहारों के दौरान *पूजा सामग्री, मिठाइयां, परिधान, गिफ्ट आइटम्स, बर्तन और इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं की बिक्री में 25 से 30 प्रतिशत तक की वृद्धि दर्ज की गई है*।

अब व्यापारी वर्ग की निगाहें *शादी सीजन* पर टिकी हैं, जो *1 नवंबर से देवउठनी एकादशी के बाद शुरू होकर 14 दिसंबर* तक चलेगा। कैट का अनुमान है कि इस अवधि में देशभर में लाखों शादियां होंगी, जिससे बाजारों में दीवाली जैसी ही चहल-पहल देखने को मिलेगी।

*श्री खंडेलवाल* ने कहा,“दीवाली के बम्पर व्यापार के बाद व्यापारी अब शादी सीजन की तैयारी में पूरी तरह जुट गए हैं। *सोना-चांदी, ज्वेलरी, वस्त्र, गिफ्ट्स, सजावट सामग्री, फर्नीचर, कैटरिंग, होटल, ब्यूटी और इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर में बिक्री के नए रिकॉर्ड बनेंगे*।”

उन्होंने यह भी बताया कि व्यापारियों को उम्मीद है कि इस बार शादी सीजन का कारोबार 5 लाख करोड़ रुपये के आंकड़े को पार कर सकता है, जो देश की अर्थव्यवस्था को नई गति प्रदान करेगा।

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